इस लेख में आपको सरोगेसी ( Surrogacy In Hindi ) के बारे में जानकारी मिलेगी। इस पोस्ट के माध्यम से आप जान पाएंगे कि सरोगेसी क्या होती है?, सरोगेसी में कितना खर्च आता है? इत्यादि जानकारी आपको मिलेगी। विज्ञान से सम्बंधित अन्य पोस्ट पढ़ने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें|
सरोगेसी क्या है? – Surrogacy Meaning In Hindi
सरोगेसी सहायक प्रजनन की एक विधि है। जहां माता-पिता एक सरोगेट के साथ काम करते हैं जो जन्म तक अपने बच्चे की देखभाल करेंगे। जब कोई माता – पिता बच्चे पैदा नहीं कर सकते तब वे सरोगेसी का सहारा ले सकते हैं।
अगर माता – पिता को बच्चे पैदा करने में किसी प्रकार की समस्या होती है तब वे सरोगेसी के माध्यम से सन्तान का सुख प्राप्त कर सकते हैं।
सरोगेट माता क्या होती है? – Surrogate Mother Meaning In Hindi
सरोगेट माता का मतलब ( Surrogate Mother Meaning ) होता है जो महिला किसी और दम्पति के बच्चे को अपनी कोख से जन्म देने को तैयार होती है। सरोगेट माता किसी अन्य व्यक्ति के शुक्राणुओं के माध्यम से बच्चे को जन्म देती है।
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सरोगेसी कैसे काम करती है? – Surrogacy Process In Hindi
जेस्टेशनल सरोगेसी उन लोगों की मदद करती है जो बच्चे पैदा करने में असमर्थ होते हैं। यह एक ऐसी प्रक्रिया है जिसमें चिकित्सा और कानूनी विशेषज्ञता की आवश्यकता होती है, साथ ही इस पूरी यात्रा में एक मजबूत समर्थन प्रक्रिया भी होती है।
आईवीएफ के माध्यम से, भ्रूण एक प्रजनन क्लिनिक में एक प्रयोगशाला में बनाया जाता है। कभी-कभी इच्छित माता-पिता अपनी आनुवंशिक सामग्री का उपयोग करते हैं।
कभी-कभी, एक अंडा दाता की आवश्यकता होती है। प्रजनन क्लिनिक में भ्रूण एक गर्भकालीन वाहक में प्रत्यारोपित किए जाते हैं।
सरोगेसी के प्रकार – Types Of Surrogacy
सरोगेसी मुख्यतः दो प्रकार की होती है एक ट्रेडिशनल सरोगेसी तथा दूसरी जेस्टेन्शनल सरोगेसी। चलिए अब जान लेते हैं कि इनका मतलब क्या होता है।
ट्रेडिशनल सरोगेसी – Traditional Surrogacy
सरोगेसी की इस प्रक्रिया में पिता के शुक्राणुओं को किसी अन्य महिला के अंडाणुओं के साथ निषेचित किया जाता है। सरोगेसी की इस प्रक्रिया में सन्तान का जैनेटिक सम्बन्ध पिता से होता है।
जेस्टेन्शनल सरोगेसी – Gestational Surrogacy
सरोगेसी की इस प्रक्रिया में माता और पिता के अंडाणुओं तथा शुक्राणुओं का मेल परखनली विधि द्वारा करवाया जाता है। उसके बाद प्राप्त भ्रूण को सरोगेट माता की बच्चेदानी में प्रत्यारोपित कर दिया जाता है। सरोगेसी की इस प्रक्रिया में बच्चे का जैनेटिक सम्बन्ध माता और पिता दोनों से होता है।
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Gamete सरोगेसी
Gamete सरोगेसी का उपयोग तब किया जाता है जब आनुवांशिक सामग्री या तो माता या पिता (यानी शुक्राणु या अंडाणु) से या दोनों से प्राप्त नहीं होती है या अनुपलब्ध होती है।
यह कई कारणों से हो सकता है। जब या तो माता-पिता से आनुवंशिक सामग्री उपयुक्त रूप से उत्पादित नहीं की जा सकती है, तो दाता सामग्री का उपयोग किया जाता है।
सरोगेसी का चयन कब करें?
सरोगेसी विभिन्न प्रकार की पृष्ठभूमि, उम्र और यौन झुकाव वाले जोड़ों और व्यक्तियों को उनके परिवारों के निर्माण की अनुमति देती है। सरोगेसी का उपयोग करने वाले इच्छुक माता-पिता में शामिल हैं
- विषमलैंगिक जोड़े जो बांझपन से जूझ चुके हैं।
- ऐसी माता जो बच्चे को जन्म देने में सक्षम नहीं है।
- ऐसे माता-पिता जिनके पास आनुवंशिक दोष या स्वास्थ्य दोष की स्थिति है, वे बच्चे को जन्म नहीं चाहते हैं।
सरोगेट माताओं की लागत कितनी है? – Surrogacy Cost In India
सरोगेसी की लागत कुछ कारकों पर निर्भर करती है। औसतन, सरोगेट माताओं को 10 लाख से 20 लाख शुल्क का भुगतान किया जाता है। साथ ही अतिरिक्त मुआवजा और लाभ दिया जाता है।
यदि आप अमेरिका में रहते हैं, तो आप 108K- 156K डॉलर के आसपास सरोगेसी की लागत का अनुमान लगा सकते हैं। वास्तविक लागत उन सेवाओं पर निर्भर करती है जो माता-पिता की ज़रूरतों तथा उनकी विशिष्ट यात्रा के विवरणों पर निर्भर करती हैं।
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सरोगेसी की प्रक्रिया – Surrogacy Process
सरोगेसी की प्रक्रिया जटिल हो सकती है और सरोगेसी की किसी अनुभवी एजेंसी के साथ काम करने से आसानी हो सकती है और जब आपको सबसे अधिक आवश्यकता होती है तो एजेंसी सहायता प्रदान करती है। सरोगेसी प्रक्रिया का एक सामान्य अवलोकन इस प्रकार है:
• सरोगेट या माता-पिता के रूप में आवेदन करें
• सभी आवश्यकताओं को पूरा करें और प्रारंभिक परामर्श को पूरा करें
• सरोगेट और पैरेंट मैचिंग
• मेडिकल स्क्रीनिंग, सरोगेट दवाएं और भ्रूण स्थानांतरण
• गर्भावस्था की पुष्टि
क्या भारत में सरोगेसी वैध है?
भारतीय कानून में 2018 में वाणिज्यिक सरोगेसी को अवैध बना दिया। केवल जरूरतमंद, बांझ भारतीय माता – पिता के लिए परोपकारी सरोगेसी की अनुमति देता है। लेकिन माता – पिता का वैवाहिक सम्बन्ध पांच साल से अधिक होना चाहिए।
माता – पिता के पास उनके बांझपन का एक डॉक्टर का प्रमाण पत्र होना चाहिए। महिलाओं को केवल एक बार सरोगेट करने के लिए प्रतिबंधित करता है और केवल अगर वे इच्छित माता-पिता के करीबी रिश्तेदार हैं तथा विवाहित हैं और उनका एक बच्चा है तभी भारतीय कानून उन्हें वैध मानता है।
थाईलैंड और नेपाल जैसे अन्य देशों ने हाल ही में सरोगेसी बैन लागू किया है।
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उम्मीद करता हूँ दोस्तों की इस लेख के माध्यम से आपको सरोगेसी के बारे में पूर्ण जानकारी ( Surrogacy In Hindi ) मिल पाई होगी। हमनें इस लेख को सरल भाषा मे लिखने का प्रयास किया है।
अगर आपके मन में किसी प्रकार का कोई प्रश्न है तो आप निसंकोच हमसे पूछ सकते हैं। अगर आपको सरोगेसी से सम्बंधित हमारी यह पोस्ट अच्छी लगे तो इसे अपने दोस्तों के साथ शेयर जरूर करें। अपना कीमती समय देने के लिए आपका बहुत – बहुत धन्यवाद।
very nice article thanks for the information
Thanks Tripti